+91-9997111311,    support@sahityaratan.com

कुण्डलियां

कुण्डलियां/तारकेश्वरी ‘सुधि’

सुखमय हो जीवन सदा, मुख पर हो मुस्कान । ये तब ही संभव बने, जब हो संग में ज्ञान ।। संग में हो जब ज्ञान, सोच का रूप बदलता । तम का हो अवसान, काज में मिले सफलता। कहती है सुधि सत्य, बने न पल पल दुखमय । कर लें अर्जित ज्ञान, तभी जीवन हो […]

कुण्डलियां/साधना ठकुरेला

चलती रहती जिंदगी , ज्यों कागज़ की नाव । लोग भटकते लक्ष्य से , करते नहीं चुनाव ।। करते नहीं चुनाव , हवा खे कर ले जाती । कुछ हो जाती पार ,कहीं पर भँवर डुबाती । कहे ‘साधना’ सत्य , करो मत कोई गलती । हाथ रखो पतवार , नाव तब ढंग से चलती […]

कुण्डलियां ‘ठकुरेला’ कविराय/त्रिलोक सिंह ठकुरेला

सोना तपता आग में, और निखरता रूप। कभी न रुकते साहसी, छाया हो या धूप।। छाया हो या धूप, बहुत सी बाधा आयें। कभी न बनें अधीर, नहीं मन में घबरायें। ‘ठकुरेला’ कविराय, दुखों से कभी न रोना। निखरे सहकर कष्ट, आदमी हो या सोना।। *** चलते चलते एक दिन, तट पर लगती नाव। मिल […]